स्वच्छता अभियान – नवीनतम ख़बरें और प्रेरक कहानियां
साफ-सुथरा भारत बनाना सिर्फ सरकार का काम नहीं, हर नागरिक की जिम्मेदारी है. इस पेज पर हम स्वच्छता से जुड़ी सबसे नई खबरों को एक जगह लाए हैं, ताकि आप जल्दी‑जल्दी अपडेट रह सकें और अपने आसपास के बदलाव देख सकें.
इंदौर की सफ़ाई सफलता
इंदौर ने फिर से ‘सर्वश्रेष्ठ स्वच्छ शहर’ का खिताब जीतकर सबको चौंका दिया. यह शहर आठवीं बार भारत का सबसे साफ नगर बना और इस बार इसे Super Swachh League में भी शीर्ष स्थान मिला. प्रधानमंत्री द्वारा दिल्ली में प्रस्तुत किया गया पुरस्कार दर्शाता है कि कड़ी मेहनत, सही नीति और नागरिकों की भागीदारी मिलकर क्या कर सकती है.
इंदौर की सफलता के पीछे कई छोटे‑छोटे कदम हैं – नियमित कचरा संग्रहण, डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म से शिकायत निवारण, स्कूलों में स्वच्छता शिक्षा. यदि आप अपने शहर को भी इंदौर जैसा बनाना चाहते हैं तो इन उपायों को अपनाना शुरू कर सकते हैं.
आप भी कैसे जोड़ सकते हैं?
स्वच्छता अभियान में आपका छोटा‑सा योगदान बड़ा असर डाल सकता है. सबसे पहले घर में कचरा अलग-अलग डिब्बों में रखें – रीसाइक्लेबल, जैविक और गैर‑जैविक. फिर नज़दीकी कचरा पिक‑अप सेंटर पर समय पर जमा कर दें. अगर आपका मोहल्ला अभी तक स्वच्छता समितियों से नहीं जुड़ा है तो पड़ोस के साथ मिलकर एक समिति बनाएं.
सरकारी योजनाओं का भी फायदा उठाएँ: स्वच्छ भारत मिशन में कई वित्तीय सहायता उपलब्ध हैं, जैसे शौचालय निर्माण या कचरा प्रबंधन उपकरण. इन स्कीमों की जानकारी हमारे लेख ‘स्वच्छता मैनें इंदौर की हिट्रिक’ में विस्तृत है.
सोशल मीडिया पर भी आप जागरूकता फैला सकते हैं. किसी ने सफ़ाई के बाद एक तस्वीर पोस्ट की, तो दूसरों को प्रेरणा मिलती है. हम रोज़ नई कहानियाँ और टिप्स अपलोड करते रहते हैं, इसलिए इस पेज को बुकमार्क कर लें.
स्वच्छता केवल दिखावे का मुद्दा नहीं, यह हमारे स्वास्थ्य, पर्यावरण और भविष्य की सुरक्षा से जुड़ा है. जब आप कचरा सही जगह डालते हैं, तो जल स्रोत साफ़ रहते हैं और बीमारी का जोखिम घटता है. यही कारण है कि हर साल लाखों रुपये इस काम में लगाते हैं, लेकिन अगर हम सब मिलकर छोटे‑छोटे कदम उठाएँ तो बहुत कम खर्च में बड़ा फ़ायदा होगा.
हमारी टैग पेज पर आप ‘इंदौर की सफ़ाई’, ‘स्वच्छ भारत मिशन अपडेट’, ‘स्थानीय स्वच्छता पहलों’ जैसे लेख पढ़ सकते हैं. इन सभी को समझकर आप अपनी रोज़मर्रा की ज़िन्दगी में बदलाव लाने के लिए तैयार हो जाएंगे.
तो अब देर किस बात की? आज ही एक छोटे से कदम से शुरुआत करें और स्वच्छ भारत के सपने को साकार बनाएं. हर दिन थोड़ा‑थोड़ा योगदान, मिलकर बड़े परिवर्तन का आधार बनता है.

भारतीय सेना के हरित पहल - स्थायी प्रथाओं की ओर अग्रसर
भारतीय सेना ने हाल के वर्षों में पर्यावरणीय रूप से स्थायी प्रथाओं की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। मुख्य पहल में ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, इलेक्ट्रिक वाहनों का समावेश, हाइड्रोजन फ्यूल सेल टेक्नोलॉजी, और हरे मानदंडों के साथ थल सेना भवन का निर्माण शामिल है। सेना का लक्ष्य मार्च 2027 तक लैंडफिल-मुक्त होना है। यह पहल दिखाती है कि सेना पर्यावरणीय स्थिरता के प्रति प्रतिबद्ध है।
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