पाक समर्थित TRF ने रियासी बस पर आतंकवादी हमले की जिम्मेदारी ली, पर्यटकों को दी और हमलों की चेतावनी

रियासी आतंकवादी हमला: TRF ने ली जिम्मेदारी

रियासी जिले के एक दुःस्वप्न में तब्दील होने वाले आतंकवादी हमले ने पूरे देश को सदमे में डाल दिया है। पाकिस्तान समर्थित आतंकवादी संगठन The Resistance Front (TRF) ने इस आतंकी हमले की जिम्मेदारी ली है, जिसमें 10 निर्दोष तीर्थयात्री मारे गए और 33 अन्य गंभीर रूप से घायल हुए हैं। बस जब शिव खोड़ी मंदिर से कटरा लौट रही थी, तब आतंकवादियों ने घात लगा कर हमला कर दिया। इस हमले ने पूरे क्षेत्र में भय और असुरक्षा का माहौल बना दिया है।

हमले की खौफनाक कहानी

यह आतंकवादी हमला न केवल निर्दोष लोगों की जान ली, बल्कि आतंक और हिंसा की एक नई धारा को भी जीवित कर दिया। बस के चालक और कंडक्टर, दोनों स्थानीय निवासी थे, लेकिन वे भी इस हमले में मौत का शिकार हो गए। अधिकांश मृतक उत्तर प्रदेश और राजस्थान से थे, जबकि घायलों में 34 उत्तर प्रदेश, 5 दिल्ली और 2 राजस्थान के थे।

बेहद दर्दनाक था कि आतंकवादियों ने बस पर गोला-बारूद से हमला करना जारी रखा, यहां तक कि बस खड्ड में गिरने के बाद भी। इस बेहद वीभत्स दृश्य ने इस हमले की क्रूरता को और बढ़ा दिया।

NIA और सुरक्षा बलों की त्वरित कार्रवाई

हमले के तुरंत बाद, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने जांच शुरू कर दी है। पूरे क्षेत्र में सुरक्षा बढ़ा दी गई है और आतंकवादियों को पकड़ने के लिए बड़े पैमाने पर सर्च ऑपरेशन भी चलाया जा रहा है। इस जांच में ड्रोन और फोरेंसिक विशेषज्ञों का भी उपयोग किया जा रहा है, ताकि इस नरसंहार के पीछे के साजिशकर्ताओं को जल्द से जल्द गिरफ्तार किया जा सके।

आतंकवादियों का यह समूह दो वर्षों से पीर पंजाल क्षेत्र के दक्षिणी हिस्से में सक्रिय रहा है और इस वारदात ने इस खतरे को और भी स्पष्ट कर दिया है। आतंकवादियों ने घनी वनस्पति से घात लगाकर हमला किया, जिससे बस का चालक संतुलन खो बैठा और बस खड्ड में गिर गई।

TRF और उसकी गतिविधियां

The Resistance Front (TRF) को भारत सरकार द्वारा 2023 में एक आतंकवादी संगठन के रूप में नामित किया गया था। TRF, पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा का एक ऑफशूट है, और यह संगठन भारतीय सुरक्षा बलों और नागरिकों पर कई हमलों में शामिल रहा है, खासकर जब से अनुच्छेद 370 को हटाया गया है।

TRF ने चेतावनी दी है कि यह हमला केवल शुरुआत है और वे आगे और अधिक तीव्र हमले करने का इरादा रखते हैं। यह चेतावनी न केवल जम्मू और कश्मीर बल्कि पूरे भारत के लिए एक गंभीर चुनौती है।

सुरक्षा बलों की नई रणनीति

सुरक्षा बलों की नई रणनीति

इस हमले के बाद, भारतीय सुरक्षा बलों ने अपनी रणनीति में बदलाव किए हैं। न केवल स्थानीय सुरक्षा बलों को सुदृढ़ किया गया है, बल्कि राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसियों की भी तैनाती की गई है। ड्रोन की निगरानी और उच्च तकनीकी उपकरणों का उपयोग, क्षेत्र में आतंकवादियों की पहचान और उनके ठिकानों का पता लगाने के लिए किया जा रहा है।

केंद्र और राज्य सरकारें मिलकर इस मसले पर काम कर रही हैं। स्थानीय नागरिकों को भी इस लड़ाई में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है, ताकि आतंकवाद के खिलाफ सामूहिक प्रयास किया जा सके।

घायलों को मेडिकल सहायता

हमले में घायल हुए लोगों को तत्काल अस्पताल में भर्ती कराया गया जहां उनकी देखरेख की जा रही है। सरकार ने घायल और मृतकों के परिवारों को आर्थिक सहायता देने की घोषणा की है। स्थानीय समुदाय भी इस विपदा के समय में एकजुट होकर पीड़ितों की मदद को आगे आया है।

अस्पताल में भर्ती एक पीड़िता ने बताया कि

16 टिप्पणि

Nithya ramani
Nithya ramani

जून 11, 2024 at 06:36 पूर्वाह्न

ये हमला बस एक आतंकी कार्रवाई नहीं, बल्कि हमारी सांस्कृतिक एकता के खिलाफ एक युद्ध है। हम सबको अपने भाई-बंधुओं के साथ खड़े होना होगा।

Ali Zeeshan Javed
Ali Zeeshan Javed

जून 12, 2024 at 21:55 अपराह्न

kashmir ki bhasha aur sanskriti ko samajhna zaroori hai, yeh sab kuchh ek hi jeevan hai. humein ek doosre ko samajhna hoga, nahi toh yeh dard kabhi khatam nahi hoga.

Žééshañ Khan
Žééshañ Khan

जून 14, 2024 at 11:48 पूर्वाह्न

इस प्रकार के आतंकवादी कृत्यों के विरुद्ध राष्ट्रीय स्तर पर एक सख्त और निरंतर प्रतिक्रिया अनिवार्य है। कोई भी विचारधारा इस तरह के अत्याचार को नहीं बचा सकती।

ritesh srivastav
ritesh srivastav

जून 16, 2024 at 00:36 पूर्वाह्न

पाकिस्तान को अब जवाब देने का समय है। हम बस बातें नहीं करेंगे, बल्कि उनके घाटों पर जाकर अपना जवाब देंगे।

sumit dhamija
sumit dhamija

जून 16, 2024 at 17:49 अपराह्न

इस घटना के बाद सुरक्षा बलों की तैनाती में बदलाव आवश्यक है। लेकिन साथ ही, नागरिकों की भागीदारी भी अहम है।

Aditya Ingale
Aditya Ingale

जून 18, 2024 at 05:43 पूर्वाह्न

इस हमले ने दिल को चीर दिया। बस में बैठे लोग बस घर जा रहे थे... और अब वो खाक हो गए। ये कोई युद्ध नहीं, ये तो नरसंहार है।

Aarya Editz
Aarya Editz

जून 20, 2024 at 02:14 पूर्वाह्न

क्या हम सच में भूल गए हैं कि हर जान एक अनमोल अनुभव है? हर घायल एक कहानी है, हर मृतक एक अधूरा सपना। इस बार बहुत से लोग मरे, लेकिन ये सब क्या बदल गया?

Prathamesh Potnis
Prathamesh Potnis

जून 21, 2024 at 03:43 पूर्वाह्न

हमें आतंकवाद के खिलाफ एक सामूहिक जागरूकता बनानी होगी। यह एक सुरक्षा समस्या नहीं, बल्कि एक मानवीय जिम्मेदारी है।

Rahul Kumar
Rahul Kumar

जून 21, 2024 at 21:58 अपराह्न

yeh sab kuchh bhot bura hai... bas chup chap nahi rehna chahiye. humein kuch karna hoga.

Shreya Prasad
Shreya Prasad

जून 22, 2024 at 08:27 पूर्वाह्न

इस प्रकार की घटनाओं के बाद, सामाजिक एकता की रक्षा करना हम सभी की जिम्मेदारी है। भाषा, धर्म या जाति का कोई फर्क नहीं होना चाहिए।

GITA Grupo de Investigação do Treinamento Psicofísico do Atuante
GITA Grupo de Investigação do Treinamento Psicofísico do Atuante

जून 23, 2024 at 08:37 पूर्वाह्न

यह आतंकवादी हमला एक नए युग की शुरुआत है, जिसमें भारत की सुरक्षा नीति को पुनर्गठित करना होगा। यह कोई छोटी घटना नहीं है।

anil kumar
anil kumar

जून 24, 2024 at 07:17 पूर्वाह्न

क्या हम इतने अंधे हो गए हैं कि अब बस के चालक की जान भी किसी निर्दोष के लिए नहीं गिनती? ये लोग बस अपना काम कर रहे थे।

shubham jain
shubham jain

जून 24, 2024 at 14:12 अपराह्न

TRF का नाम 2023 में बैन किया गया था। अब यह फिर से सक्रिय है। यह एक जानकारी है जिसे बार-बार दोहराया जाना चाहिए।

shivam sharma
shivam sharma

जून 26, 2024 at 14:11 अपराह्न

पाकिस्तान को जला देना चाहिए। उनके सारे आतंकी ठिकाने ध्वस्त कर देने चाहिए। हमारे बच्चों की जान के लिए कोई राहत नहीं।

Dinesh Kumar
Dinesh Kumar

जून 27, 2024 at 21:32 अपराह्न

ये हमला... ये बस... ये मृतक... ये घायल... ये आंसू... ये दर्द... ये अनंत शोक... और फिर भी कोई नहीं रुकता! ये क्या दुनिया है?

Sanjay Gandhi
Sanjay Gandhi

जून 28, 2024 at 08:02 पूर्वाह्न

kya humne kabhi socha ki yeh bhi ek insaan ki zindagi hai jo bus mein baithe the? kya humne kabhi socha ki unki biwi, bacche, maa-baap ka kya hoga?

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